अगर एक बेटी या बेटा होता,
दुनीयाँ में ये नाता न होता ।
माँ भी होती बाप भी होता,
न भाभी होती न भैया होता,
गर मैं भी अकेला होता,
बहन होती न जीजा होता।
दादी होती दादा भी होता,
न चाची होती न चाचा होता,
गर मेरा बाप अकेला होता,
फुफी होती न फुफा होता।
नानी होती नाना भी होता,
न मामी होती न मामा होता,
गर मेरी माँ अकेली होती,
मौसी होती न मौसा होता।
सास भी होती ससुर भी होता,
न साली होती न साला होता,
गर मेरी बीबी अकेली होती,
मैं भी किसी का जीजा न होता।
अगर एक बेटी या बेटा होता,
दुनीयाँ में ये नाता न होता !!
दुनीयाँ में ये नाता न होता ।
माँ भी होती बाप भी होता,
न भाभी होती न भैया होता,
गर मैं भी अकेला होता,
बहन होती न जीजा होता।
दादी होती दादा भी होता,
न चाची होती न चाचा होता,
गर मेरा बाप अकेला होता,
फुफी होती न फुफा होता।
नानी होती नाना भी होता,
न मामी होती न मामा होता,
गर मेरी माँ अकेली होती,
मौसी होती न मौसा होता।
सास भी होती ससुर भी होता,
न साली होती न साला होता,
गर मेरी बीबी अकेली होती,
मैं भी किसी का जीजा न होता।
अगर एक बेटी या बेटा होता,
दुनीयाँ में ये नाता न होता !!
No comments:
Post a Comment